ओढ़ चुनड़ में तो गई रे सत्संग में,
साँवरियो भिगाई म्हाने गेरा-गेरा रंग में,
सोच रही मन में,
समझ रही मन में,
थारो म्हारो न्याय,
होवे ला सत्संग में,
ओढ़ चुनड़ में तो गई रे……….
सत री संगत में,
गुरा सा बिराजे,
कर-कर दर्शन,
हुई रे मगन में,
ओढ़ चुनड़ में तो गई रे……….
सत री संगत में,
साँवरियो बिराजे,
गाय-गाय हरी गुण,
होइ रे मगन में,
ओढ़ चुनड़ में तो गई रे……….
सत री संगत में,
ज्योति जलत हे,
कर-कर दर्शन,
होइ रे मगन में,
ओढ़ चुनड़ में तो गई रे……….
मीरा बाई सारे,
गिरधर नागर,
भव जल पार,
उतारे पल छिन में,
ओढ़ चुनड़ में तो गई रे……….
ओढ़ चुनड़ में तो गई रे सत्संग में,
साँवरियो भिगाई म्हाने गेरा-गेरा रंग में,
भजन भंडार के साथ जुड़े- भजन भंडार